गर्मी के मौसम में बढ़ जाता है पित्त दोष (शरीर की अग्नि)
गर्मी के मौसम में सूरज की गर्मी से सभी का हाल बेहाल हो जाता है सूरज वातावरण के साथ-साथ हमारे शरीर में भी गर्मी बढ़ा देता है जिससे अग्नि हमारे शरीर में भी बढ़ी हुई होती है जिसे पित्त दोष कहा जाता है अगर पित्त दोष को शांत नहीं रखा जाए तो हमें बहुत सारी शारीरिक परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
आइये पित्त दोष को संतुलित करना सीखें।
शरीर में पित्त दोष के बढ़ने से होते हैं कई नुकसान
बढ़े हुए पित्त के कारण पसीना बहुत आता है, शरीर से दुर्गंध भी आती है, पिंपल-एक्ने भी काफी ज्यादा बढ़ सकते हैं, फोड़े-फुंसी और मुंह के मुंह के छाले, पेट में घाव, एसिडिटी, त्वचा में खुजली, शरीर में जलन, बहुत ज्यादा भूख लगना, पेट में जलन, आंख और पेशाब का कलर पीला होना, गुस्सा और चिड़चिड़ापन, गर्मी बिल्कुल बर्दाश्त नहीं कर पाते हैं, ब्लड शुगर कम हो जाता है, एसिडिटी, हार्ट बर्न, पेट के अल्सर, डायरिया, मुंह से बदबू, बुखार, रात में पसीने आना, लाल आंखें, नाक और गुदा द्वार से खून आना
आदि पित्त दोष के बढ़ने के लक्षण है।
बढ़े हुए पित्त दोष में इन चीजों से परहेज करें
नमक, तेल, मसाले का सेवन कम करें, हरी मिर्च लाल मिर्च काली मिर्च का सेवन न करें और ऐसे मसाले जो शरीर में गर्मी लाते हैं जैसे जीरा अजवाइन आदि का सेवन न करें गरम और भारी खाने से बचें रूम टेंपरेचर का खाना खाएं।
चाय, कॉफी और अल्कोहल भी पित्त को बढ़ा देता है इनसे बचें। प्रोसैस्ड पैक्ड और चाइनीस फूड बिल्कुल न खाएं इसमें गरम मसाले और एसिड का इस्तेमाल होता है जो आपके लिए जान लेवा हो सकता है। अचार, दही, खट्टे फल, पनीर, सिरका, और फर्मेंटेड फूड से बचें, अंडे और नॉन वेज ना खाएं।
नमकीन, खट्टा और तीखे टेस्ट का भोजन शरीर की अग्नि बढ़ा देता है।
बड़े हुए पित्त दोष में इन चीजों को अपनी डाइट में शामिल करें
फल- नारियल, नारियल पानी, तरबूज, खरबूज, पपीता, मीठे अंगूर, खाएं लेकिन कच्चे और खट्टे फल न खाएं।
सब्जियां- करेला, तोरी, लौकी, कद्दू, खीरा, ककड़ी, स्प्राउट, करेला, पत्ता गोभी, फूलगोभी, लौकी, कद्दू, मटर, मशरूम, पत्तेदार सब्जियां, धनिया पत्ता, पुदीना पत्ता, नीम का पत्ता आदि।
अनाज- रोटी, चावल, ओट्स, मिलेट्स, दालें, हरी मूंग, चना आदि।
गोंद कतीरा, सौंफ का पानी, चावल का पानी, घड़े का पानी, दूध की ठंडी खीर
मीठा, कड़वा और क्षारीय टेस्ट का भोजन पित्त को कम करके इसे संतुलित रखता है।
अपने शरीर और अपने वातावरण को ठंडा रखें
कूलर और एयर कंडीशनर की मदद से खुद को ठंडा रखें ध्यान रखें गर्मी के दिनों में पित दोष बढ़ता है इसलिए सूरज की रोशनी, गर्म पानी, गर्म खाना, गुस्सा, तनाव आदि से बचें यह आपकी प्रॉब्लम बढ़ा सकते हैं शरीर पर ठंडा तेल जैसे नारियल, पिपरमेंट का तेल या कोई ठंडा तेल का इस्तेमाल कर सकते हैं।
धूप में बाहर जाने से बचें
धूप में बाहर जाने से बचें अगर बहुत जरूरी है बाहर जाना तो सफेद कपड़े पहनकर और सिर पर सफेद गमछा या रुमाल रखकर और खूब सारा पानी पीकर बाहर निकलें यह आपको हीट से बचाएगा।
एक्सरसाइज और जिम से बचें
एक्सरसाइज और जिम की एक्टिविटी शरीर में गर्मी यानि पित्त दोष बढ़ा देता है जिस इंसान का पित्त दोष बढ़ा हुआ हो और अगर वह गर्मी के मौसम में एक्सरसाइज करता है तो उसमें पित्त दोष काफी ज्यादा बढ़ जाता है जो की शरीर की नार्मल कार्य क्षमता के लिए ठीक नहीं है